इस वजह से खुद को मौत देना चाहते थे कुलदीप, फिर इस शख्स ने दिया हौसला
आज के क्रिकेट (cricket) के दिलचस्प तथ्य (interesting facts) में हम बात करने वाले क्रिकेटर कुलदीप यादव के उस मोड़ की, जिसने उनकी जिंदगी पूरी तरह बदल दी। उससे पहले कुलदीप यादव (kuldeep yadav) के क्रिकेटर करियर पर एक नजर डालते हैं।
25 वर्षीय युवा स्पिन गेंदबाज कुलदीप यादव (kuldeep yadav) ने भारत के लिए अबतक कुल 60 वनडे मुकाबले खेले हैं। इस दौरान कुलदीप ने 26.16 की औसत से 104 विकेट हासिल किए हैं।
इस वजह से सुसाइड करने की सोच रहे थे कुलदीप
यहां एक बात गौर करने वाली ये है कि क्रिकेटर कुलदीप यादव (kuldeep yadav) का सफर मुश्किल रहा है। उन्होंने एक इंटरव्यू में खुलासा करते हुए कहा था कि जब अंडर-15 (u-15 cricket) के लिए सेलेक्शन चल रहा था
तो उस समय चाइनामैन गेंद नहीं डालने के कारण उन्हें नहीं चुना गया था, जिसके बाद वह डिप्रेशन में चले गए थे। सेलेक्शन न होने से वे इतनी दुखी हो गए थे कि उन्होंने सुसाइड करने तक का फैसला कर लिया था।
मुश्किल वक्त में पिता ने बढ़ाया हौसला
उस इंटरव्यू में कुलदीप (kuldeep yadav) ने कहा था कि अंडर-15 टीम में सेलेक्ट होने के लिए उन्होंने बहुत मेहनत की थी। मगर सलेक्शन नहीं हुआ और बहुत निराश हो गए और मन में ये विचार मजबूत कर लिया कि अब क्रिकेट (cricket) को छोड़े देंगे।
फिर उनके पिता ने उनके मुश्किल वक्त में काम आए और उन्होंने बेटे कुलदीप यादव को मनोबल बढ़ाया और इसके बाद कुलदीप (kuldeep yadav) ने अपना भारतीय टीम में खेलने का मुकाम हासिल कर लिया।
वसीम अकरम जैसे बनना चाहते थे Kuldeep Yadav
स्पिन गेंदबाज कुलदीप यादव एक बार कहा था कि वो क्रिकेट जगत (interesting facts) में तेज गेंदबाज बनना चाहते थे और पूर्व पाकिस्तानी तेज गेंदबाज वसीम अकरम की तरह बॉलिंग करना चाहते थे। अच्छी बात ये थी कि मेरी गेंद भी स्विंग करती थी।
इसके बाद एक दिन मेरे कोच ने मुझसे कहा कि तुम तेज गेंदबाजी नहीं करोगे, अगर स्पिन गेंद डालनी है, तो डालो। उस समय मेरी उम्र 11 साल थी और कोच को लगा कि मैं इतना कमजोर हूं कि शायद भविष्य में इतना भार नहीं उठा पाऊं।
चाइनामैन गेंदबाजी के लिए लकी थी
फिर आगे कुलदीप (kuldeep yadav) ने कहा कि मैंने कोच के निर्देश पर स्पिन गेंदबाजी की और मैं लकी था कि मैंने चाइनामैन गेंद डाली थी। मुझे भी नहीं पता था कि चाइनामैन गेंदबाजी क्या होती है और कैसे की जाती है (interesting facts)
फिर मैंने राउंड द विकेट लेग स्पिन डाली। ये देखकर कोच को लगा कि क्रिकेट (cricket) में ये नई चीज है। एक-दो गेंद बाद उन्होंने मुझसे कई गेंद डलवाई और कहा आज से तुम ऐसे ही गेंद डालोगे। फिर मुझे एहसास हुआ कि ये अलग तरह की गेंदबाजी है।
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